रायपुर : अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस : सक्ती जिले के विकास में महिला शक्ति की है एक विशेष भागीदाररायपुर // वर्तमान समय में हमारे समाज में महिलाओं की महत्वपूर्ण भागीदारी है। महिला शक्ति के सम्मान में पूरे विश्व में 8 मार्च 2024 को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। नवगठित सक्ती जिले के विकास में भी महिलाओं की एक कलेक्टर, एसपी, डॉक्टर, सीईओ और शिक्षिका जैसे अतिमहत्वपूर्ण पदों पर महिलाए अपने दायित्वों का निर्वहन के साथ महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है।
सक्ती जिले की ओएसडी के साथ ही पहली कलेक्टर है आईएएस श्रीमती नूपुर राशि पन्ना
छत्तीसगढ़ की पहली महिला आईपीएस सुश्री अंकिता शर्मा है सक्ती जिले की एसपी
छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिले की रहने वाली अंकिता ने शुरुआती पढ़ाई सरकारी स्कूल से की है। ग्रेजुएशन करने के बाद अंकिता ने एमबीए किया और वे एमबीए में गोल्ड मेडलिस्ट भी है। इसके बाद सुश्री अंकिता शर्मा यूपीएससी परीक्षा की तैयारी के लिए दिल्ली चली गईं। अंकिता को पहले दो प्रयासों में यूपीएससी परीक्षा में सफलता नहीं मिली। उन्हें साल 2018 में तीसरे प्रयास में सफलता मिली और 203वीं रैंक हासिल हुई। वे होम कैडर पाने वाली छत्तीसगढ़ की पहली महिला आईपीएस हैं। नक्सल प्रभावित बस्तर में उन्हें नक्सल ऑपरेशन की इंचार्ज भी बनाया गया और मई 2022 में वह खैरागढ़ की एसपी बनी। पुलिस अधीक्षक सुश्री अंकिता शर्मा के पिता श्री राकेश शर्मा व्यापारी हैं और मां श्रीमती सविता शर्मा गृहिणी हैं। अंकिता तीन बहनों में सबसे बड़ी हैं। छत्तीसगढ़ की पहली महिला आईपीएस अधिकारी सुश्री अंकिता शर्मा अपने दबंग अंदाज के लिए मशहूर हैं।
स्त्री रोग विशेषज्ञ सर्जन डॉ. कल्पना राठौर एमसीएच में दे रही चिकित्सा सुविधा
सक्ती जिले के एमसीएच अस्पताल में एमबीबीएस एम एस डॉ. कल्पना राठौर स्त्री रोग विशेषज्ञ सर्जन के रूप में अपनी सेवा दे रही है। नवीन जिला गठन उपरांत महज एक वर्ष में सक्ती जिले के एमसीएच अस्पताल में अकेले स्त्री रोग विशेषज्ञ सर्जन डॉ. कल्पना राठौर के द्वारा 568 सफल सीजेरियन आपरेशन, 10 जटिल गर्भाशय आपरेशन, 368 महिला नसबंदी कर कीर्तिमान स्थापित की है।
डॉक्टर कल्पना राठौर का मूल ग्राम डोंगिया पोरथा है साथ ही इनका ससुराल ग्राम भी पोरथा है। उन्होंने अपनी स्कूली शिक्षा नवोदय विद्यालय मल्हार से पूरी कर एमबीबीएस में चयनित होकर मेडिकल कालेज रायपुर से एमबीबीएस की उपाधि प्राप्त की। जिसके उपरांत 1 वर्ष तक अपोलो अस्पताल बिलासपुर में जूनियर डॉक्टर के रूप में कार्य करते हुए उच्च अध्ययन में लगी रही और उनका चयन एम.एस. गायनेकोलॉजी में रायपुर मेडिकल कालेज में हुआ। यंहा से उन्होंने एम.एस. की उपाधि लेकर अपने विशेषज्ञ चिकित्सक केरियर की शुरुवात किया। उन्होंने निजी चिकित्सालय में सेवा न देकर हमेशा सरकारी चिकित्सालय में ही अपनी सेवा दी है।
डॉक्टर कल्पना राठौर एक अच्छी डॉक्टर होने के साथ ही ये एक कुशल गृहिणी भी है। अपने माता-पिता की सेवा और सास-ससुर की सेवा के लिए भी हमेशा तत्पर रहती है। इनके पति भी डॉक्टर है जो कि अभी सक्ती जिले के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी पद पर कार्यरत है। उनकी सुपुत्री कक्षा एक की पढ़ाई कर रही है। एक अच्छी गृहिणी होने के साथ-साथ एक कामयाब स्त्री रोग विशेषज्ञ सर्जन के रूप में डॉ कल्पना राठौर का नाम आज सुप्रसिद्ध है।